भले गोगाजी वाजिया वैरागी ढोल


भले सुहाणो आवी हैं आठम री हैं रात

छप्पन पियालो ती धर्मी हो होसरी रे,


भले गोगाजी वाजिया वेडाला ढोल 

हे वाजा बाजे मधरे वाजिया रे,


हासन मोरे भोपाजी रो मोड़ 

मोती भोपेजी चावल मेलिया ही


आवो ना मारा तेलवाड़ा रा राज

केसर भवानी ने हाथे लावीजो रे,

परो नी फूटो नदियो वालो नीर 

वीरलो नृसिलो हाथे लावजे ही 


केहर, सदी मां ने भेली भेली आव

चौरासी खातो ने हाथे लाव ही जे 


आज सहेलियो सोंबले वाली रात 

धर्मी वधावो मुंगे मोतीया ही रे 


हां सहेलियो हेरि होकड़ली हो राज

हेरिये वसावो गलरा फूलड़ा रे,


भले ढोलिड़ा ढोल गेरो रे बजाव

चायर गोगा रमवा आविया रे,


भले गोगाजी कृष्ण देवासी जस गाय

थोरा टाबरियो ने होरा राखजो ही जे 

Comments

Popular posts from this blog

वायक आया गुरुदेव रा रूपा जमले पधारों/ लिरिक्स भजन

साधु भाई सतगुरु साक भरेलो

गोविन्द रा गुण गाय बन्दा उमर जावे